समारा ट्रेडिंग एप के नाम पर 91 लाख की ठगी : रायगढ़ पुलिस की बड़ी कार्रवाई, देहरादून से अन्तर्राज्यीय तीन साइबर ठग दबोचे गए, भेजे गए न्यायिक अभिरक्षा में

समारा ट्रेडिंग एप के नाम पर 91 लाख की ठगी : रायगढ़ पुलिस की बड़ी कार्रवाई, देहरादून से अन्तर्राज्यीय तीन साइबर ठग दबोचे गए, भेजे गए न्यायिक अभिरक्षा में

रायगढ़. 7 मई, 2025 : रायगढ़ पुलिस ने एक बड़ी सफलता हासिल करते हुए अन्तर्राज्यीय साइबर ठग गिरोह का भंडाफोड़ किया है। उत्तराखंड से गिरफ्तार तीन आरोपी, एक स्थानीय कर्मचारी से समारा ट्रेडिंग एप’ के जरिये ₹91 लाख की ऑनलाइन ठगी में शामिल थे। इस गिरोह पर देशभर में करोड़ों रुपये की साइबर ठगी के 55 से अधिक मामले दर्ज हैं। पुलिस महानिरीक्षक बिलासपुर रेंज डॉ. संजीव शुक्ला के मार्गदर्शन एवं पुलिस अधीक्षक रायगढ़ दिव्यांग पटेल के नेतृत्व में साइबर ठगी के एक अन्तर्राज्यीय गिरोह का पर्दाफाश करते हुए रायगढ़ पुलिस ने उत्तराखंड के देहरादून से प्रशिक्षु आईपीएस हर्षित मैहर थाना प्रभारी खरसिया की टीम ने इंटर स्टेट साइबर फ्राड गैंग के तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर बड़ी सफलता प्राप्त की है। खरसिया क्षेत्र के बोतल्दा निवासी एक प्लांट कर्मचारी से करीब 91 लाख रुपये की ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामले में ये कार्रवाई की गई, जिसमें आरोपियों द्वारा समारा ट्रेडिंग एप’ के नाम पर फर्जी निवेश के बहाने भारी रकम ठगी गई थी।

जानकारी के अनुसार 22 फरवरी 2024 को पीड़ित राजेश गबेल को एक वॉट्सऐप लिंक के जरिए एक ग्रुप में जोड़ा गया, जहां शेयर ट्रेडिंग में 5 से 7 प्रतिशत तक लाभ का प्रलोभन दिया गया। आरोपियों ने पीड़ित से समारा प्रो एप’ डाउनलोड कराकर उसमें निवेश शुरू कराया और कुल 91 लाख रुपये निवेश करा लिए। बाद में जब निवेशित शेयरों को बेचना संभव नहीं हुआ, तब ठगी का अहसास हुआ। प्रकरण में खरसिया थाना में अपराध क्रमांक 412/2025 धारा 420 भादंवि के अंतर्गत मामला दर्ज किया गया।

एसपी दिव्यांग पटेल ने स्वयं इस केस की निगरानी करते हुए साइबर सेल व खरसिया पुलिस की संयुक्त टीम बनाई। जांच में यह सामने आया कि पीड़ित की रकम देहरादून स्थित बैंक खातों में ट्रांसफर हुई है। प्रशिक्षु आईपीएस श्री हर्षित मैहर थाना प्रभारी खरसिया के नेतृत्व में गठित विशेष टीम ने देहरादून पहुंचकर खाता धारक शेखर थपलियाल का पता उठाया और हिरासत में लिया। पूछताछ में उसके जॉइंट अकाउंट होल्डर कुलदीप सिंह रावत और मुख्य सरगना आशीष अग्रवाल का नाम सामने आया। पुलिस ने दोनों को भी स्थानीय पुलिस की मदद से दबोच लिया।

पूछताछ में खुलासा हुआ कि आशीष अग्रवाल विभिन्न लोगों से बैंक अकाउंट और लिंक्ड मोबाइल नंबर पर कमीशन लेकर प्राप्त करता था और फर्जी ट्रेडिंग कंपनी के नाम पर निवेश कराकर ठगी करता था। इस गिरोह द्वारा उपयोग किये गये मोबाइल नंबरों के खिलाफ उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश सहित विभिन्न राज्यों में कुल 55 ऑनलाइन धोखाधड़ी की शिकायतें दर्ज हैं, जिनमें करीब 6 करोड़ रुपये के लेन-देन का रिकॉर्ड सामने आया है। आरोपियों के खिलाफ खरसिया, जिला रायगढ़ के अलावा 3 और अपराध आजमगढ़ और बलिया (उत्तर प्रदेश) में पंजीबद्ध हैं।

गिरफ्तार तीनों आरोपियों को देहरादून से ट्रांजिट रिमांड पर रायगढ़ लाया गया है। उनके पास से 3 मोबाइल फोन, आईडीएफसी बैंक का संयुक्त खाता चेकबुक और सील जब्त की गई है। न्यायालय में प्रस्तुत कर सभी को न्यायिक रिमांड पर भेज दिया गया है, मामले में विवेचना जारी है ।

1. शेखर थपलियाल पिता श्री प्रेमचंद थपलियाल उम्र 34 वर्ष साकिन डॉडी मोथस्से वाला रोड वार्ड क. 85 देहरादून थाना नेहरू कालोनी जिला देहरादून (उत्तराखण्ड).

2. कुलदीप सिंह रावत पिता स्व. श्री जैकृत सिंह रावत उम्र 39 वर्ष साकिन डॉडी मोथखे वाला रोड वार्ड क. 85 देहरादून थाना नेहरू कालोनी जिला देहरादून (उत्तराखण्ड).

3. आशीष अग्रवाल पिता श्री कपिल अग्रवाल उम्र 34 वर्ष साकिन डुई वाला देहरादून रोड थाना डुईवाला कोतवाली जिला देहरादून (उत्तराखण्ड).

जब्त सामग्री – आरोपियों के 3 मोबाइल फोन, आईडीएफसी बैंक का संयुक्त खाता चेकबुक और सील ।

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